डायलासिस से बचा जा सकता है :-
आज के समय में बहुत से मरीजों को गुरदों के कई तरहं के रोग लगे हुए हैं | जैसे गुरदों का सिकुड़ना, गुरदों का कम काम करना, गुरदों में रसौलियाँ बननी,गुरदों की सुजन होनी आदि तरह तरह के रोगों के साथ साथ सब से भयंकर रोग गुरदों का काम करना बंद कर देना या इस तरह कहें गुरदों की काम करने की क्षमता जरुरत से कम हो जाना , जिस कारण मानवीय शारीर में गन्दा खून इकट्ठा होने लग जाता है और शारीर की सफाई होनी बंद हो जाती है |
निष्कर्ष के तौर पर शारीर में बेकार पदार्थ इकट्ठा होने के कारण शारीर अनेकों रोगों से ग्रसित होना शुरू हो जाता है , जिन में से कुछ हैं दिल को पूरी मात्रा में खून न मिलने के कारण सांस चढ़ना , दिल की गति अधिक हो जाना,खाया –पिया हजम न होना, पेट का फूलना, पिशाब रुक कर आना,लैंटरीन कब्ज के साथ आना, शारीर का रंग बदल जाना, दिनों दिन शारीर की ताकत घटते जाना,करेटेनाईन का बदना | आपको चिंता करने की जरुरत नहीं , क्योंकि आपके लिए हमारी टीम ने खास दवाएं तैयार की हैं जो आपको डायलसिस से बचाएंगी | आपके गुरदों के उपरोक्त लिखे रोगों को ठीक करेंगी | इन दवाओं के साथ हमने अपने अनुभव के साथ कई मरते हुए मरीजों को जीवन दान दिया है | आपकी बीमारी की हमें फ़िक्र है | आप बेझिझक होकर दवा मंगवाए | कुछ ही दिनों में आपके डायलसिस कराने के दिन बढने लग जायेंगे | अगर आप 2 दिन बाद डायलसिस करवाते हो तो 4 दिन, फिर 6 दिनों बाद ,इसी तरह बढते बढते 10 – 12 दिनों बाद और आखिर डायलसिस से पीछा ही छुट जायेगा |
गुरदों की पथरी वाले बहुत से मरीज हमने अपने कैर्रियर में ठीक किये | बहुत मरीजों की पथरियां 7 – 8 mm से भी बड़ी थी और कई में तो एक एक गुरदों में तीन तीन | हमारे सभी मरीज़ बिलकुल ठीक हैं | जिन के अब तक दोबारा पथरी पैदा नही हुई | आप नही चिंता ना करें| आपकी पथरी जल्दी ही निकल जाएगी | ठीक हुए मरीजों के बारे में जानकारी हमने नीचे दी है और निकाली हुई पथरियों की फोटो भी साथ दी है , आप देख कर अपनी तसल्ली कर सकते हैं |
ठीक हुए मरीजों को में देख सकते हो जी |